केंद्र सरकार ने कोरोना वायरस के संक्रमण को देखते हुए दो सप्ताह का लॉकडाउन पूरे देश में बढ़ा दिया है। इसके साथ ही देश को तीन जोन में बांटा गया है। इसमें ऑरेंज और ग्रीन जोन में कुछ छूट दी गई है, जबकि रेड जोन में कोई छूट नहीं होगी।
इससे पहले, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुक्रवार को हाईलेवल मीटिंग बुलाई थी। ढाई घंटे चली बैठक में गृह मंत्री अमित शाह, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण, चीफ ऑफ डिफेंस स्टाफ विपिन रावत, रेल मंत्री पीयूष गोयल समेत सेक्रेट्री लेवल के कई अन्य अफसर मौजूद रहे। इसके बाद केंद्रीय गृह मंत्रालय ने आदेश जारी किया। पूरे देश को 733 जोनों में बांटा गया है। इनमें 130 रेड जोन, 284 ऑरेंज जोन जबकि 319 ग्रीन जोन घोषित किए गए हैं।
एयर स्पेस के इस्तेमाल का प्रस्ताव
बैठक में यह प्रस्ताव भी सामने आया कि एयर स्पेस का कुछ इस तरह से इस्तेमाल करना है कि फ्लाइंग टाइम कम हो, जिससे सफर करने वाले लोगों और एयरलाइंस के खर्च में कमी की जा सके। इसकी पुष्टि पीएमओ ने की है।
विशेष ट्रेनें चलाने की मंजूरी
गृह मंत्रालय ने कहा कि दूसरे राज्यों में फंसे मजदूरों, छात्रों और अन्य लोगों को निकालने के लिए स्पेशल ट्रेन को भी सरकार ने अनुमति दी है। रेलवे बोर्ड इसकी व्यवस्था करेगा। पूरे देश में रेल, एयर, मेट्रो सेवा और एक राज्य से दूसरे में आवागमन बंद रहेगा। स्कूल, कॉलेज और शैक्षणिक संस्थाएं भी बंद रहेंगी।
देश में 130 रेड जोन
देश में 130 रेड जोन हैं। इसमें दिल्ली के सभी नौ रेड जोन में है। मुंबई, अहमदाबाद, सूरत जैसे बड़े औद्योगिक केंद्र भी रेड जोन में हैं। देश में कुल 739 जिले हैं, जिनमें से 307 में कोरोना का कोई केस नहीं आया हैं। ये सभी ग्रीन जोन में हैं।
किस जोन में क्या सुविधा
रेड जोन
सभी चीजों पर पाबंदी रहेगी, जैसा कि पूर्व में था। दुकानें, सैलून आदि बंद रहेंगे।
ऑरेंज जोन: बसों के परिचालन की छूट नहीं होगी। लेकिन, कैब की अनुमति होगी। कैब में ड्राइवर और एक पैसेंजर रहेगा। इंडस्ट्रियल एक्टिविटीज शुरू होगी और कॉम्प्लेक्स भी खुलेंगे।
ग्रीन जोन
फैक्ट्रियों, दुकानों, छोटे-मोटे उद्योग और अन्य सेवाओं को भी शर्तों के साथ पूरी अनुमति। बसें चल सकेंगी। लेकिन, बसों की क्षमता 50 फीसदी रहेगी। डीपो में भी 50 फीसदी कर्मचारी रहेेंगे।